अगले बरस तू जल्दी आ..घाटों और तालाबों पर पुलिस का पहरा, लोगों ने वाहनों में रखी मूर्तियां
उज्जैन -इस वर्ष कोरोना संक्रमण की वजह से सार्वजनिक गणेशोत्सव नहीं मनाया गया, लोगों ने घरों में भगवान गजानन की मूर्तियां स्थापित कर 10 दिनों तक पूजन अर्चन किया और आज अनंत चौदस के शुभ मुहूर्त में गणपति बप्पा मोरिया…अगले बरस तू जल्दी आ के उद्घोष के साथ मूर्तियों को बिदाई दी जा रही है। नदी और तालाबों में मूर्तियां विसर्जन पर प्रतिबंध लगाया गया है और नगर निगम के वाहन में ही मूर्ति रखने की अनुमति है।
शिप्रा नदी के त्रिवेणी घाट, गऊघाट, भूखी माता, नृसिंह घाट, रामघाट, ऋणमुक्तेश्वर, भेरूगढ़, गंगाघाट, मंगलनाथ घाट सहित पुरुषोत्तम सागर, विष्णु सागर, हीरामिल की चाल स्थित कुण्ड आदि मूर्ति विसर्जन के स्थानों पर सुबह से पुलिस का पहरा था। टीआई स्तर के अधिकारी लगातार भ्रमण कर लोगों को घरों में ही गणेजी की मूर्तियों को विसर्जन करने अथवा नगर निगम के वाहन में मूर्तियों को रखने का निवेदन लोगों से कर रहे थे। हालांकि नदी व तालाब में मूर्ति विसर्जन पर स्वच्छता और व्यवस्था के मद्देनजर प्रतिबंध प्रतिवर्ष रहता है, लेकिन कोरोना संक्रमण की वजह से प्रशासन द्वारा इस वर्ष सार्वजनिक रूप से गणेशोत्सव आयोजन की अनुमति भी नहीं दी गई।
न झांकियों का कारवां न अखाड़े
अनंत चौदस पर प्रतिवर्ष रात में सार्वजनिक गणेशोत्सव मंडलों, चिंतामण गणेश, चिमनगंज मंडी, नगर निगम सहित अन्य संस्थाओं की झिलमिल झांकियां निकलती थीं। झांकियों में अखाड़े, ढोल, बैण्ड भी शामिल होते थे, लेकिन इस वर्ष न झांकियों का कारवां होगा और न ही अखाड़ों के करतब होंगे।
उज्जैन -इस वर्ष कोरोना संक्रमण की वजह से सार्वजनिक गणेशोत्सव नहीं मनाया गया, लोगों ने घरों में भगवान गजानन की मूर्तियां स्थापित कर 10 दिनों तक पूजन अर्चन किया और आज अनंत चौदस के शुभ मुहूर्त में गणपति बप्पा मोरिया…अगले बरस तू जल्दी आ के उद्घोष के साथ मूर्तियों को बिदाई दी जा रही है। नदी और तालाबों में मूर्तियां विसर्जन पर प्रतिबंध लगाया गया है और नगर निगम के वाहन में ही मूर्ति रखने की अनुमति है।
शिप्रा नदी के त्रिवेणी घाट, गऊघाट, भूखी माता, नृसिंह घाट, रामघाट, ऋणमुक्तेश्वर, भेरूगढ़, गंगाघाट, मंगलनाथ घाट सहित पुरुषोत्तम सागर, विष्णु सागर, हीरामिल की चाल स्थित कुण्ड आदि मूर्ति विसर्जन के स्थानों पर सुबह से पुलिस का पहरा था। टीआई स्तर के अधिकारी लगातार भ्रमण कर लोगों को घरों में ही गणेजी की मूर्तियों को विसर्जन करने अथवा नगर निगम के वाहन में मूर्तियों को रखने का निवेदन लोगों से कर रहे थे। हालांकि नदी व तालाब में मूर्ति विसर्जन पर स्वच्छता और व्यवस्था के मद्देनजर प्रतिबंध प्रतिवर्ष रहता है, लेकिन कोरोना संक्रमण की वजह से प्रशासन द्वारा इस वर्ष सार्वजनिक रूप से गणेशोत्सव आयोजन की अनुमति भी नहीं दी गई।
न झांकियों का कारवां न अखाड़े
अनंत चौदस पर प्रतिवर्ष रात में सार्वजनिक गणेशोत्सव मंडलों, चिंतामण गणेश, चिमनगंज मंडी, नगर निगम सहित अन्य संस्थाओं की झिलमिल झांकियां निकलती थीं। झांकियों में अखाड़े, ढोल, बैण्ड भी शामिल होते थे, लेकिन इस वर्ष न झांकियों का कारवां होगा और न ही अखाड़ों के करतब होंगे।
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